पहलवानों के धरने :महिला पहलवानों की याचिका पर सुनवाई के बाद सुप्रीम कोर्ट (Supreme Court) ने मामले को बंद कर दिया। भारत के मुख्य न्यायाधीश (CJI) जस्टिस डीवाई चंद्रचूड़ की पीठ ने कहा कि हम यह मामला यहां बंद कर रहे हैं।अगर आगे कोई शिकायत हो तो उसे मजिस्ट्रेट (magistrate) या हाई कोर्ट के सामने रखा जा सकता है।
पहलवानों के धरने :सुनवाई के दौरान भारत सरकार के सॉलीसिजर जनरल ने पीठ को बताया कि कोर्ट ने शिकायतकर्ता को सुरक्षा का निर्देश दिया था। नाबालिग शिकायतकर्ता को पर्याप्त सुरक्षा दी गई है। सादे कपड़ों में पुलिस वाले सुरक्षा दे रहे हैं, ताकि पहचान उजागर न हो सके बाकी 6 को खतरा नहीं पाया गया लेकिन उनको भी सुरक्षा दी गई है।
सॉलीसिटर जनरल ने दी जानकारी
सॉलिसीटर जनरल ने सीजेआई (CJI) को बताया कि हम निष्पक्ष जांच कर रहे हैं। शिकायतकर्ताओं के बयान लिए जा रहे हैं। सीलबंद लिफाफे में कोर्ट को रिपोर्ट दी है। एक वरिष्ठ आईपीएस जांच कर रही हैं। यह सही नहीं होगा कि याचिकाकर्ता कहें कि ऐसा पहले किया जाए या वैसा पहले किया जाए।
FIR दर्ज हो चुकी- CJI
सुनवाई के बाद सीजेआई (CJI) ने कहा, हमारे पास 3 याचिकाकर्ता आए थे। उन्होंने बताया कि उन्होंने अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर भारत का प्रतिनिधित्व किया है। हमने पुलिस को नोटिस जारी किया। पुलिस ने हमें बताया कि वह FIR दर्ज करेगी। कनॉट प्लेस (Connaught Place) थाने में एफआईआऱ दर्ज हो चुकी है। 354, 354A, 354B और पॉक्सो एक्ट की एफआईआर है.
सीजेआई (CJI) ने कहा, नाबालिग शिकायकर्ता का बयान 29 अप्रैल को दर्ज किया गया। 4 महिला पुलिस कांस्टेबल की उपस्थिति में बयान हुआ। 3 मई को दूसरे बयान भी लिए गए हैं। सॉलिसीटर ने बताया कि मजिस्ट्रेट के सामने भी जल्द बयान दर्ज होंगे।
CJI ने मामला बंद करने का दिया आदेश
हमारे पास FIR की मांग रखी गई थी, वह पूरी हो चुकी है. हमने सुरक्षा का आदेश दिया, वह भी दी जा चुकी है। हम यह मामला यहां बंद कर रहे हैं। आगे अगर कोई शिकायत हो तो उसे मजिस्ट्रेट या हाई कोर्ट के सामने रखा जा सकता है।