पहलवानों: भारतीय कुश्ती महासंघ के निर्वतमान अध्यक्ष और बीजेपी सांसद बृजभूषण शरण सिंह की गिरफ्तारी का मामला तूल पकड़ चुका है। बीते लंबे वक्त से दिल्ली के जंतर मंतर पर पहलवान गिरफ्तारी की मांग को लेकर धरने पर बैठे हुए थे। वहीं इस धरने पर जमकर सियासत हो रही है, इस वजह से धरने के पश्चिमी यूपी और हरियाणा में केंद्रीत होने की संभावना है। इसको देखते हुए बीजेपी इन इलाकों में एक्टिव हो गई है।
भारतीय किसान यूनियन के अध्यक्ष नरेश टिकैत ने कहा है कि यौन शोषण के आरोपों को लेकर पहलवानों के आंदोलन पर चर्चा के लिए यहां के शोरम गांव में ‘महापंचायत’ होगी। आंदोलनकारी पहलवानों से जुड़े मुद्दों पर एक जून को महापंचायत में विस्तार से चर्चा होगी। इस महापंचायत को लेकर बीजेपी सतर्क हो गई है। क्षेत्रीय बीजेपी नेताओं ने केंद्रीय नेतृत्व को इस संबंध में आगाह कर दिया है।
किसान नेता महेंद्र टिकैत के आग्रह पर खाप द्वारा पंचायत बुलाई गई है। लेकिन कृषि कानूनों के खिलाफ यहां पंचायत नहीं हुई। इस वजह से पहलवानों को लेकर होने वाली पंचायत पर खासा जोर दिया जा रहा है। राजनीति के जानकारों की मानें तो इस महापंचायत का असर पश्चिमी यूपी और हरियाणा में पड़ सकता है। इस वजह से क्षेत्रीय नेताओं ने इस संबंध में पार्टी आलाकमान को आगाह कर दिया है। दरअसल, राकेश टिकैत ने कहा कि उत्तर प्रदेश, हरियाणा, पंजाब, राजस्थान और दिल्ली से विभिन्न खापों के प्रतिनिधि इस खाप महापंचायत में हिस्सा लेंगे।
सूत्रों की मानें तो पंचायत के माध्यम से पश्चिमी यूपी और हरियाणा में बीजेपी की चुनौती बढ़ सकती है। पंचायत में पहली बार इन इलाकों में काफी जोर सोर से इस मुद्दे पर चर्चा चल रही है। बता दें कि साक्षी मलिक, विनेश फोगाट और बजरंग पूनिया सहित देश के शीर्ष पहलवान गंगा नदी में अपने ओलंपिक और विश्व पदक विसर्जित करने सैकड़ों समर्थकों के साथ पहुंचे लेकिन खाप और किसान नेताओं के मनाने पर उन्होंने पदक विसर्जित नहीं किए।